Sunday, February 1, 2009

वो कह के चले

वो कह के चले, वो कह के चले,
इतनी मुलाक़ात बहुत है,
मैंने कहा रुक जाओ अभी रात बहुत है,
आंसू मेरे थम जायें तोह शौक से जाना,
ऐसे में कहाँ जाओगे बरसात बहुत है

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